Grow vegetables and fourfold the beauty of the house

हम रोज अपनी रसोई में फल और सब्जियां काटते समय उन के बीजों या सिरों को काट कर कूड़ेदान में फेंक देते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि इन से आप सुंदर पौधे उगा कर घर का सौंदर्य भी बढ़ा सकती हैं? अगर नहीं तो हम आप को बता रहे हैं कि कैसे फलों व सब्जियों के बीजों और सिरों को उगा कर घर के सौंदर्य में चार चांद लगा सकतें हैं:

गाजर: 

जब आप गाजर काटें तो उन के सिरों को फेंकें नहीं, बल्कि गमले में अच्छी खाद मिली मिट्टी भर कर उस में गाड़ दें. फिर पानी दे दें. कुछ ही दिनों में आप को सुंदर पौधे उगते नजर आएंगे. ध्यान रहे इन पौधों से केवल आप के घर की शोभा बढ़ेगी, गाजरें सब्जी के लिए नहीं मिलेंगी.

लहसुन: 

उगता लहसुन बहुत सुंदर दिखता है. अत: लहसुन उगाने के लिए आप को 10 इंच की गहराई वाले गमले और धूप की जरूरत होगी. गमले में मिट्टी भर कर उसे गीला कर लें. फिर लहसुन की कलियों को बिना छीले 4-4 इंच की दूरी पर गाड़ दें. हफ्ते भर में आप को हरे पत्ते उगते नजर आएंगे, जो बालकनी को सुंदर बनाएंगे. 

अदरक: 

अदरक उगाने में सब से आसान है. बस अपने घर में बचे हुए अदरक के टुकड़े को अपने गमले में गाड़ दें. इसे उगाने के लिए ज्यादा धूप की जरूरत नहीं. कुछ ही दिनों में आप को सुंदर पौधा उगता नजर आएगा. इस से आप को अदरक भी मिलेगा और साथ ही साथ यह घर की शोभा भी बढ़ाएगा.

यही नहीं, अदरक के टुकडे़ को साफ कर उसे एक सुंदर से शीशे के जार या शीशे के चौड़े गिलास में डाल कर किचन काउंटर पर रख दें. कुछ ही दिनों में आप को उस में सफेद जड़ें उगती नजर आएंगी, जो बहुत ही सुंदर दिखेंगी. बस, समयसमय पर पानी जरूर बदलती रहें.

प्याज: 

आप हरा प्याज काटते समय सिरों को कूड़ेदान में फेंक देती होंगी. अब अगली बार जब प्याज काटें तो उस के सिरों को पानी से भरी कांच की कटोरी में डाल दें. ध्यान रहे कि सिरा पानी में डूबे नहीं, तैरता रहना चाहिए. पानी को हर 2 दिन बाद जरूर बदलती रहें वरना दुर्गंध आने लगेगी.

इस कटोरी को धूप पड़ने वाली जगह पर रखें. कुछ ही दिनों में जड़ और पत्ते निकल आएंगे. अगली बार आमलेट बनाते समय इन्हीं ताजा पत्तियों को काट कर डालें.

टमाटर: 

अगर टमाटर गल गया हो तो उसे फेंकें नहीं, बल्कि कवर में डाल कर पूरी तरह गलने दें. जब टमाटर सूख कर सिर्फ बीज बच जाएं तो उन्हें बगीचे में बो दें. कुछ ही दिनों में आप को टमाटर के पत्ते लहराते नजर आएंगे.

टमाटर को आप बहुत खूबसूरती के साथ बालटी में भी उगा सकती हैं. इस के लिए बड़ी बालटी की जरूरत पड़ेगी. बालटी के निचले हिस्से में पानी निकलने की सुविधा होनी चाहिए जैसा कि गमलों में होता है. फिर खाद, मिट्टी, दवा और अंडों के छिलकोंको मिक्स कर बालटी में भर दें. अब बीजों को हलके से मिट्टी की ऊपरी सतह में गाड़ दें. बहुत गहराई में न गाड़ें.

बालटी में जब आप के टमाटर उगने लगेंगे, तो उन का सौंदर्य देख कर आप को बहुत खुशी होगी. आमतौर पर टमाटर जमीन पर फैलते हुए उगता है. इसलिए बालटी में टमाटर को सपाट न उगने दें. 1-2 इंच होने पर टमाटर की टहनियों को हलके हाथ से एक डंडे के साथ बांध दें ताकि वे सीधी ऊपर जाएं. ऐसा करने पर घर की शोभा बढ़ने के साथ साथ अच्छे टमाटर भी खाने को मिलेंगे.

आप घर के अंदर कम रोशनी में भी पौधे उगा कर घर को सुदर और खुशबूदार बना सकती हैं:

पुदीना पत्ती: 

छोटे गमले में खाद व मिट्टी को मिला कर भर लें. फिर बाजार से खरीदी पुदीने की गड्डी से पुदीने के पत्ते निकाल कर डंठलों को नए गमले में गाड़ दें. 3-4 डंठल इकट्ठे गाड़ें ताकि कोई एक जड़ पकड़ ले.

शिमला मिर्च: 

गमले में शिमलामिर्च के बीज बो दें. पौधे निकलने में 3-4 हफ्ते लग सकते हैं. बहुत सारे बीज एक गमले में न डालें. जब पौधे उगेंगे तो बहुत सुंदर दिखेंगे. बालटी या गमले में उगाने की वजह से मिर्च आप को छोटे आकार में ही मिलेगी. इसीलिए गमले में ज्यादा बीज न बोएं.

आलू: 

अगर आप ने आलुओं का बहुत समय तक इस्तेमाल न किया हो तो उन में आंखें निकली नजर आएंगी. आप उन्हें फेंकें नहीं. आलू को 3-4 टुकड़ों में काट लें. ध्यान रहे, हर कटे हिस्से में कम से कम 1 आंख जरूर हो. फिर इन टुकड़ों को अच्छी तरह धूप में सुखा लें ताकि वे काले तथा सख्त हो जाएं. ऐसा करने से जब आप इन्हें बालटी या गमलों में गाड़ेंगी तो वे गलेंगे नहीं और कीड़ा भी नहीं लगेगा.

गमले में उगाए जाने वाले आलू के लिए मिट्टी और खाद का मिश्रण बराबर मात्रा में हो. आलू के टुकड़ों को 8 इंच की गहराई में गाड़ें और आंख ऊपर की तरफ ही रखें. गड़े हुए आलू के टुकड़े के ऊपर सिर्फ 3-4 इंच तक ही मिट्टी डालें. जड़ पकड़ कर जैसे ही आलू ऊपरी सतह में दिखने शुरू हों तब ऊपर से और मिट्टी डाल कर उन्हें गाड़े रखना होगा. 


Authors

श्रीओम*, डा. गुलाब चन्‍द यादव** व हरीओम

*शोध छात्र, **सहायक अध्यापक

सब्‍जी ‍वि‍ज्ञान वि‍भाग, उद्ध्‍यान व वानि‍की महावि‍धालय

नरेन्‍द्रदेव कृषि‍ एवं प्रौद्योगि‍की वि‍श्‍ववि‍धाल्‍य, कुमारगंज फैजाबाद (उ.प्र.) 224229

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