परवल या पॉईटि‍ड गोड की उन्‍नत कि‍स्‍में।

परवल की कि‍स्‍में :  परवल की प्रमुख उन्नतशील किस्मे निम्नवत है 

ट्राइकोसेन्थेस डियोका ( Trichosanthes dioica) के फल

किस्मे

         विशेषता

एफ. पी- 1

इसके फल गोल एवं हरे रंग के होते है, तथा यह मुख्य रूप से उत्तर प्रदेश एवं बिहार में उगाई जाती है |

एफ. पी- 3

इस प्रजाति के फल पर्वल्याकार होते है तथा इनपर हरे रंग की धारियां होती है | तथा ये पूर्वी एवं पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लिए उपयुक्त प्रजाती है |

एफ. पी- 4

इस प्रजाती के फल हलके हरे रंग के एवं पर्वल्याकार होते है, तथा उसर भूमी के लिए उपयुक्त किस्म है, प्रति हेक्टेयर 100-110 कुंतल उपज प्रदान करती है |

राजेन्द्र परवल-1

यह किस्म मुख्या रूप से बिहार के दियारा क्षेत्र में उगाई जाती है |

राजेंद्र परवल-2

ये किस्म यू.पी. एवं बिहार के लिए उपयुक्त है |

स्वर्ण  अलौकिक

इस प्रजाति की फल 5-8 से.मी लम्बे;सब्जी तथा मिठाई बनाने हेतु उपयुक्त है |

स्वर्ण रेखा

फलो की लम्बाई 8-10  से.मी.; सब्जी तथा मिठाई बनाने हेतु उपयुक्त है |

मेनिशा रानी1 और दीपक मौर्य2

1सब्जी विज्ञान विभाग, पंजाब कृषि विश्वविद्यालय, लुधियाना, पंजाब

2उद्यान विज्ञान विभाग (सब्जी और पुष्प), बिहार कृषि विश्वविद्यालय, साबौर, भागलपुर (बिहार)

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